एमसीबीयू – शानदार उपलब्धियों से भरा रहा बीता वर्ष 2024, अनेक विकास कार्य हुए,छात्रों हेतु खुले नए पाठ्यक्रम
खजुराहो में यूनिवर्सिटी का परिसर हुआ प्रस्तावित
छतरपुर। महाराज छत्रसाल बुंदेलखंड विश्वविद्यालय, छतरपुर का बीता वर्ष – 2024 शानदार उपलब्धियों की सौगात दे गया है।कुलगुरू प्रो शुभा तिवारी के मार्गदर्शन में यूनिवर्सिटी के छात्र छात्राओं के शैक्षणिक उन्नयन के लिए अनेक नए पाठ्यक्रम तो शुरू किए गए है, अनेक अकादमिक , शोध, खेल एवं साहित्यिक तथा सांस्कृतिक गतिविधियां भी निरंतर संचालित हो रही है।हाल ही में दत्तोपंत ठेंगड़ी शोध संस्थान ,भोपाल से एमसीबीयू के साथ एक एमओयू (करार)हुआ है,जिससे मानविकी तथा सामाजिक विज्ञान संकायों सहित सभी संकायों के साथ अनुसंधान के अनेक कार्य होंगे।
मीडिया प्रभारी डा सुमति प्रकाश जैन एवं सदस्य श्री एनके पटेल सहा.प्राध्यापक ने बताया कि कुलगुरु प्रो शुभा तिवारी के सतत एवं सक्रिय प्रयासों से विश्वविद्यालय चहुंमुखी विकास की ओर अग्रसर है।उनके सद्प्रयासों में रजिस्ट्रार श्री यशवंत सिंह पटेल तथा विश्वविद्यालय के सभी विभाग के अध्यक्ष ,प्राध्यापक, सह प्राध्यापक, सहायक प्राध्यापक, अतिथि विद्वान और कार्यालयीन परिवार सहभागी बना है। पिछला वर्ष अनेक उपलब्धियों से भरा रहा है। जनवरी 2024 में विश्वविद्यालय परिसर का ग्रीन ऑडिट हुआ। फरवरी में ‘शक्ति, भक्ति और राजनीति के प्रतीक बुंदेलखंड केसरी महाराजा छत्रसाल’ विषय पर दो दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया। फरवरी में ही कुलगुरु प्रो शुभा तिवारी ने विक्रम विश्वविद्यालय, उज्जैन में मध्य क्षेत्र कुलपतियों की बैठक में भाग लिया।
14 फरवरी को विश्वविद्यालय का तीसरा दीक्षांत समारोह गरिमामय स्वरूप में संपन्न हुआ। भारतीय नौसेना अकादमी, एझिमाला, केरल में संचार कौशल पर व्याख्यान कार्यक्रम आयोजित हुआ।आरजीपीवी, भोपाल में जनजातीय अध्ययन पर कार्यशाला में कुलगुरु उद्बोधन हुआ। राज्य युवा महोत्सव खुराक समारोह, संबोधन एवं उपस्थिति रही। मध्य प्रदेश सरकार द्वारा आयोजित भारतीय ज्ञान परम्परा कार्यशाला में भाग लिया और संबोधित किया। मार्च 2024 में बी.यू. भोपाल में डी.लिट., वाइवा-वॉयस लिया गया। अप्रैल 2024 में भारतीय ज्ञान प्रणाली: शिक्षा, अंतर्दृष्टि विज्ञान और जीवन दर्शन पर एक राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया। वर्चुअल लैब शुरू हुई। सत्र 2024-25 के लिए प्रवेश की सुविधा के लिए एक समर्पित हेल्प डेस्क का गठन किया गया। कुलगुरु प्रो शुभा तिवारी ने सन यूनिवर्सिटी, कुआलालंपुर, मलेशिया में उच्च शिक्षा शिखर सम्मेलन में भाग लिया और संबोधित किया। शासकीय महाविद्यालय, दमोह में शिक्षण उपकरण पर वेबिनार के माध्यम से 24 मई 2024 को संबोधित किया। 25 मई 2024 को बदले हुए परिदृश्य में शिक्षा विषय पर वेबिनार के माध्यम से शासकीय महाविद्यालय, पन्ना को संबोधित किया। एनईपी-28 मई 2024 पर वेबिनार के माध्यम से डीडीयू विश्वविद्यालय, गोरखपुर, उत्तर प्रदेश को संबोधित किया।मई 2024 में यूजीसी अधिकारियों और भारतीय नौसेना के साथ बातचीत की। लंदन के थिएटर और विलियम शेक्सपियर का गाँव स्ट्रैटफ़ोर्ड अपॉन एवन, ऑक्सफ़ोर्ड विश्वविद्यालय साहित्यिक यात्रा की।
21 जून को योग दिवस समारोह पूर्वक मनाया गया। जून में रोजगारोन्मुख, व्यावसायिक डिप्लोमा चलाने के लिए टाटा टीसीएस के साथ अनुबंध किया। आईसीएसएसआर और दत्तोपंत ठेगड़ी संस्थान भोपाल के साथ बुंदेली लोक गाथाओं पर कार्यक्रम हुआ। धन्वन्तरि आयुर्वेदिक संस्थान प्रक्रिया प्रारम्भ- 02 जुलाई 2024। भारतीय नौसेना के बारे में गहन अनुभव और ज्ञान साझा करने के लिए “एक पार्क और संलग्नक” विकसित करने के लिए नौसेना अधिकारियों के साथ चर्चा की गई। साथ ही, छात्रों को प्रोत्साहित करने और जानकारी देने के लिए विश्वविद्यालय और भारतीय नौसेना द्वारा नियमित व्याख्यान आयोजित किए जाएंगे। नैनो टेक्नोलॉजी पर अंतर्राष्ट्रीय सेमिनार-15-16 जुलाई 2024। अनुसंधान सहयोग पर विश्वविद्यालय और भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD), पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय, नई दिल्ली, भारत के बीच मोलज के अंतिम मसौदे पर अनुमोदन। डीजीएम, आईएमडी ने यह भी सुनिश्चित किया कि विश्वविद्यालय परिसर में एक वेधशाला (AWS) स्थापित की जाएगी – 26 जुलाई 2024। यूनिवर्सिटी स्टेडियम, बैडमिंटन हॉल-22 में खेल प्रतियोगिता, अगस्त 2024। वाणिज्य विभाग में भारतीय ज्ञान परम्परा पर व्याख्यान, 21 सितम्बर 2024। एनएसएस स्थापना दिवस मनाया जाएगा- 24 सितंबर 2024। अर्थशास्त्र विभाग में भारतीय ज्ञान परम्परा पर व्याख्यान-25 सितम्बर 2024। महाराजा छत्रसाल का योगदान और भारतीयता की भावना पर अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन। विश्वविद्यालय ने सात दिवसीय राष्ट्रीय स्तर की कार्यशाला सह एफडीपी (शैक्षणिक लेखन अनुसंधान नैतिकता और आईपीआर) का आयोजन किया गया। महाराजा छत्रसाल बुंदेलखंड विश्वविद्यालय, छतरपुर और दत्तोपंत ठेंगड़ी शोध संस्थान, भोपाल के साथ एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए गए हैं, जिससे मानविकी और सामाजिक विज्ञान संकायों सहित सभी संकायों के साथ अनुसंधान के कई अवसर मिलेंगे।
नूतन वर्ष 2025 में ये कार्ययोजनाएं लेंगी आकार- –
आज से शुरू हो रहे नूतन वर्ष में अनेक कार्ययोजनाएं यूनिवर्सिटी में आकार लेंगी।विश्वविद्यालय परिसर में सौर पैनल लगाए जाना हैं। नये पाठ्यक्रम – दिव्यांगों के लिए बीएड, बी.कॉम. रिटेल ऑपरेशन मैनेजमेंट, बी.कॉम.एलएल.बी (ऑनर्स), बी.ए.एलएल.बी, आत्मरक्षा में सर्टिफिकेट और डिप्लोमा, फैशन, टेक्सटाइल और डिजाइनिंग में डिप्लोमा, भारतीय शास्त्रीय नृत्य में डिप्लोमा, विदेशी भाषाओं फ्रेंच/स्पेनिश/रूसी में डिप्लोमा शुरू होंगे। बेहतर बुनियादी ढांचा बनाना, शैक्षिक भ्रमण आदि के माध्यम से छात्रों को अधिक शैक्षिक जानकारी प्रदान करना तथा खगोल भौतिकी क्लब की स्थापना की जाएगी। नए परिसर ऋषि मार्कण्डेय वन में विशाल वृक्षारोपण कार्यक्रम आयोजित हुआ। अन्य विश्वविद्यालयों/संस्थानों/उद्योग के साथ समझौता ज्ञापन होंगे। खास बात ये कि यूजीसी के निर्देशानुसार पूर्व शासकीय महाराजा महाविद्यालय छतरपुर के प्राचार्य निवास पर मानव संसाधन केन्द्र की स्थापना की जाएगी। विश्वविद्यालय की ओर से शासन को बुंदेली पीठ की स्थापना का प्रस्ताव भेजा गया है। आगामी सत्र 2025-26 से यूटीडी में बीएएलएलबी (ऑनर्स) और बी.एड (एसपी) शुरू किए जा रहे हैं। साथ ही, खजुराहो में विश्वविद्यालय का एक परिसर प्रस्तावित है और सत्र 2024-2025 से यूटीडी में बीएससी (कृषि) शुरू किया गया है। विश्वविद्यालय में एक नौसैनिक परिसर स्थापित किया जाना है।
